Ranchi: राजधानी रांची के 45 निजी विद्यालयों द्वारा शिक्षा का अधिकार अधिनियम (RTE) 2009 के तहत चयनित आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग (EWS) के बच्चों का नामांकन नहीं लेने के मामले को झारखंड पेरेंट्स एसोसिएशन ने अत्यंत गंभीरता से लिया है।
एसोसिएशन के अध्यक्ष श्री अजय राय ने रांची उपायुक्त को एक ईमेल के माध्यम से पत्र भेजकर इस गैर-जिम्मेदाराना रवैये पर कड़ी आपत्ति जताई है और संबंधित विद्यालयों के विरुद्ध सख्त कार्रवाई की मांग की है। उन्होंने कहा कि प्रशासन द्वारा तीन बार नोटिस भेजे जाने के बावजूद भी जब इन 45 स्कूलों ने नामांकन नहीं किया, तो यह शिक्षा के अधिकार अधिनियम का खुला उल्लंघन है।
पत्र के माध्यम से एसोसिएशन ने निम्नलिखित मांगें रखी हैं:
दोषी विद्यालयों की मान्यता रद्द की जाए।
सीबीएसई/आईसीएसई/राज्य बोर्ड को संस्तुति भेजी जाए कि ऐसे स्कूलों की मान्यता निरस्त की जाए।
इन विद्यालयों पर आर्थिक दंड अधिरोपित किया जाए।
भविष्य में इस प्रकार की पुनरावृत्ति रोकने हेतु एक प्रभावी निगरानी तंत्र का गठन किया जाए।
राय ने कहा, “शिक्षा हर बच्चे का मौलिक अधिकार है और इसे वंचित बच्चों से छीनना एक सामाजिक अपराध है। झारखंड पेरेंट्स एसोसिएशन इसके विरुद्ध हमेशा मुखर रहेगा।”
उन्होंने प्रशासन से अनुरोध किया कि वह इस गंभीर मुद्दे को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए तत्काल कार्रवाई करे, जिससे शिक्षा का अधिकार अधिनियम पूरी पारदर्शिता और प्रभावशीलता के साथ लागू हो सके।