रांची : झालसा के तत्वावधान में जिला विधिक सेवा प्राधिकार, रांची द्वारा रांची जिला प्रशासन के सहयोग से मेगा लीगल इम्पावरमेन्ट कैम्प का आयोजन नामकुम ब्लॉक, रांची में किया गया। इसके साथ ही दिव्यांग बच्चों के लिए चलाये जा रहे राज्यस्तरीय 45 दिवसीय विशेष अभियान का समापन हो गया।
इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि के रूप में झालसा की सदस्य सचिव कुमारी रंजना अस्थाना ने भाग लिया। वहीं डीसीपीओ, वेद प्रकाश सहित रांची सहित, सी.आर.सी. के निदेशक, सूर्यमनी प्रसाद एवं एलिमको, रांची के सेकेंड इंचार्ज, नीतिश कुमार ने भी भाग लिया।
कार्यक्रम के अंत में धन्यवाद ज्ञापन प्रखंड विकास पदाधिकारी, रेनु कुमारी के द्वारा किया गया। आज के इस कार्यक्रम में संत मिखाईल नेत्रहीन विद्यालय के 09 बच्चों के बीच ब्रेल कीट, स्मार्ट केन (स्मार्ट स्टीक) का वितरण किया गया वहीं दसवीं कक्षा के बच्चों को स्मार्ट ब्रेल मोबाईल प्रदान की गयी।
राजकीय नेत्रहीन विद्यालय हरमू और मुखबधिर स्कूल, हरमू के 19 बच्चों के बीच भी ब्रेल कीट, स्मार्ट केन (स्मार्ट स्टीक) और मुखबधीर बच्चों के बीच हियरिंग हेड का वितरण किया गया। दिव्यांग बच्चों के बीच सहायक यंत्रों के साथ 250 रूपये प्रोत्साहन राशि के रूप में भी सी.आर.सी, रांची के सहयोग से वितरण किया गया।
डीसीपीओ द्वारा 4 बच्चों को स्पाँशरसिप स्कीम से जोड़ा गया, जिन्होंने कोविड के समय अपने परिजनों को खो चुके है। गुरूनानक होम बरियातू के एक दिव्यांग बच्चे को व्हील चेयर प्रदान किया गया तथा एक अन्य बच्चे को रोलर भी प्रदान किया गया। सीएम स्कूल ऑफ एक्सीलेंश, बरियातू में पढत्राई कर रही 11वीं कक्षा की दिव्यांग बालिका को स्पेशल ब्रेल मोबाईल फोन, ब्रेल कीट आदि प्रदान किया गया।
इसके अलावा उपस्थित 32 बच्चों का यूडीआईडी कार्ड हेतु निबंधन जिला प्रशासन की मदद से किया गया। कुल मिलाकर 62 दिव्यांगों के बीच सहायक उपकरण बांटे गये एवं उन्हें कल्याणकारी योजनाओं के साथ जोड़ा गया। आज के दिन रांची के सभी 18 ब्लॉकों में दिव्यांग बच्चों के लिए विशेष कैंप का आयोजन किया गया था, जिसमें सभी कैंपों को मिलाकर करीब 184 बच्चों को पेंशन स्कीम एवं अन्य सरकार के कल्याणकारी योजना से जोड़ा गया।
इस अभियान की शुरुआत न्याय सदन, झालसा से दिनांक 13.07.2024 को झारखंड उच्च न्यायालय के तत्कालीन मुख्य न्यायाधीश एवं झालसा के मुख्य संरक्षक माननीय डॉ विद्यूत रंजन सारंगी द्वारा माननीय कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश श्री सुजीत नारायण प्रसाद की गरिमामयी उपस्थिति में किया गया था। यह अभियान दिव्यांगता के साथ जी रहे बच्चों के अधिकारों की रक्षा के लिए विधिक सेवाओं का एक प्रभावी हस्तक्षेप था।
इस अभियान के अंतर्गत झारखंड राज्य के सभी जिलों में जिला विधिक सेवा प्राधिकार के द्वारा दिव्यांग बच्चों के लिए विशेष जागरूकता शिविर लगाकर 23458 दिव्यांग बच्चों की पहचान की गई और 12352 बच्चों को सरकारी योजनाओ का लाभ दिलाया गया। 10782 दिव्यांग बच्चों के बीच अशक्तता प्रमाण पत्र वितरित की गईं एवं अन्य बच्चों के बीच ट्राइसाइकिल एवं अन्य चीजें प्रशासन के सहयोग से वितरित की गईं।